होम »  एचआईवी/एड्स & nbsp;»  क्यों लोग लाल रिबिन लगते हैं? कैसे ये बना एड्स का प्रतीक? जानें सबकुछ...

क्यों लोग लाल रिबिन लगते हैं? कैसे ये बना एड्स का प्रतीक? जानें सबकुछ...

एड्स (AIDS) यानी एक्वायर्ड इम्युनोडेफिशिएंसी सिन्ड्रोम एक बीमारी है, जो ह्यूमन इम्युनोडेफिशिएंसी वायरस या एचआईवी (HIV) के कारण होती है. यह बीमारी तेजी से फैल रही है. इसकी एक बड़ी वजह है जागरुकता की कमी. एड्स को उपार्जित प्रतिरक्षी अपूर्णता सहलक्षण (Acquired Immune Deficiency Syndrome) भी कहा जाता है.

क्यों लोग लाल रिबिन लगते हैं? कैसे ये बना एड्स का प्रतीक? जानें सबकुछ...

एड्स (AIDS) यानी एक्वायर्ड इम्युनोडेफिशिएंसी सिन्ड्रोम एक बीमारी है, जो ह्यूमन इम्युनोडेफिशिएंसी वायरस या एचआईवी (HIV) के कारण होती है. यह बीमारी तेजी से फैल रही है. इसकी एक बड़ी वजह है जागरुकता की कमी. एड्स को उपार्जित प्रतिरक्षी अपूर्णता सहलक्षण (Acquired Immune Deficiency Syndrome) भी कहा जाता है. क्या आप जानते हैं एड्स कैसे फैलता है? एड्स एचआईवी (HIV) संक्रमित ब्लड से दूषित सुई या चिकित्सक उपकरणों का इस्तेमाल किसी दूसरे पर करने से भी यह फैल सकता है. या एचआईवी पॉजिटिव पार्टनर से असुरक्षित शारीरिक संबंध बनाने से भी फैल सकता है. हो सकता है कि आपके मन में अक्सर यह सवाल आया हो कि लाल रिबन को ही एड्स का प्रतीक क्यों माना जाता है. तो चलिए आज आपको बताते हैं कि लाल फीते को ही क्यों बनाया गया एचआईवी और एड्स के सिंबल के तौर पर क्यों मनाया जाता है...

World AIDS Day: क्या वाकई एड्स से बचाता है खतना, यहां जाने पूरा सच, क्या होता है खतना

कैसे ये बना एड्स का प्रतीक? (Why Is The AIDS Ribbon Red)



एचआईवी या एड्स के बारे में जागरुकता का प्रतीक अंतर्राष्ट्रीय रूप से लाल फीता है. यूएनएड्स ने भी अपने लोगो में इसी फीते को शामिल किया है. लाल फीते का सृजन, साल 1991 में न्यूयॉर्क में विजुअल एड्स आर्टिस्ट्स कॉकस ने किया था. इसका मतलब है - 'चिंता और सहानुभूति. एचआईवी और एड्स के बारे में एचआईवी ग्रस्त लोगों को बारे में, मरीजों के बारे में, मृत व्यक्तयों के बारे में और उन लोगों के बारे में जो सीधे तौर पर प्रभावित व्यक्तियों की देखभाल करते हैं और उन्हें सहारा देते हैं. इन सभी के बारे में अपनी चिंता और सहानुभूति प्रकट करने वाले दुनियाभर के लोग, लगातार बढ़ रही संख्या में यह फीता पहनते हैं. 

World AIDS Day: इन 5 बातों का रखेंगे ध्यान तो कभी नहीं होगा एड्स! जानें एड्स के लक्षण, कारण और बचाव के तरीके



लाल फीते का आश्य एक ऐसा आशा प्रतीक बने का है कि लोगों की पीड़ा समाप्त करने और अस वायरस से ग्रस्त लोगों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए इस रोग की केई वैक्सीन और शर्तिया इलाज खोज लिया जाएगा. इस प्रतीक से एचआईवी ग्रस्त लोगों को असंक्रमित लोगों को लगातरा शिक्षा, प्रभावी उपचार, इलाज या वैसीन खोजे जाने के लिए अधिकतम प्रयास किए जाने, अपने मित्रों के, परिवारजनों या प्रियजनों को एड्स जेसे रोगों के कारण गवां चुके लोगों को प्रतीकात्मक सहारा मिलता है. लेकिन लाल फीते ही पर्याप्त नहीं हैं. दीर्घकालीन में जब लाल फीते के उपयोगी प्रतीक का जुड़ाव ऐसे शग्दों और कामें से होगा जिनमें वस्तम में अंतर पड़ता है, तो ही यह प्रतीक सार्थक होगा. पूरी दुनिया में एचआईवी और एड्स से ग्रस्त करोडों लोगों के प्रति श्रद्धांजली के रूप में यह फीता बांधा जाता है. 

HIV and AIDS: जानें एचआईवी के बारे में सबकुछ, क्या होती हैं वजहें, लक्षण और इलाज

संदर्भ - बाईवर्ड बुक्स प्राईवेट लिमिटेड द्वारा प्रकाशित किताब एचआईवी और एड्स.

और खबरों के लिए क्लिक करें.

अच्छी खबर: भारत में एचआईवी संक्रमण के मामले कम हुए

दिल की बीमारियों का खतरा दोगुना कर सकता है HIV Infection

#HomeRemedies: कटने पर करें ये उपचार, जल्दी मिलेगा आराम...

Snoring: खर्राटों से हैं परेशान तो ऐसे करें इलाज, जानें क्यों आते हैं खर्राटे


Promoted
Listen to the latest songs, only on JioSaavn.com

क्या है खतना, इससे जुड़ी मान्यताएं और पूरा सच, यहां जानें

टिप्पणी

NDTV Doctor Hindi से जुड़े अन्य अपडेट लगातार हासिल करने के लिए हमें Facebook  पर ज्वॉइन और Twitter पर फॉलो करें... साथ ही पाएं सेहत से जुड़ी नई शोध और रिसर्च की खबरें, तंदुरुस्ती से जुड़े फीचर्स, यौन जीवन से जुड़ी समस्याओं के हल, चाइल्ड डेवलपमेंट, मेन्स हेल्थवुमन्स हेल्थडायबिटीज  और हेल्दी लिविंग अपडेट्स. 

वेब स्टोरीज़
--------------------------------विज्ञापन---------------------------------- -