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स्वाद ही नहीं शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मददगार हो सकती है डार्क चॉकलेट
स्वाद ही नहीं शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मददगार हो सकती है डार्क चॉकलेट
कोको में पाए जाने वाले फ्लेवनॉयड्स बेहद शक्तिशाली प्रतिरोधक और सूजन रोधी होते हैं, जो दिमाग, हृदय तथा अन्य अंगों के लिए लाभकारी होते हैं.
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डार्क चॉकलेट खाने वालों के लिए यह एक अच्छी खबर हो सकती है कि उनकी पसंदीदा चॉकलेट तनाव को कम कर सकती है जबकि मूड, याददाश्त और प्रतिरोधक क्षमता को दुरुस्त कर सकती है. फ्लेवनॉयड एक प्राकृतिक पोषक तत्व है जो फलों, सब्जियों तथा अनाजों में पाया जाता है. अमेरिका की लोमा लिंडा यूनवर्सिटी के ली एस बर्क ने कहा, ‘‘सालों तक हमने यह अध्ययन किया कि डार्क चॉकलेट की शुगर की मात्रा का तंत्रिका संबंधी कार्यों पर क्या असर पड़ता है... अधिक चीनी खाने से हम ज्यादा खुश होते हैं.’’
वैज्ञानिकों ने बताया कि सभी यह जानते हैं कि कोको फ्लेवनॉयड का मुख्य स्रोत है लेकिन यह पहली बार है जब यह जनने का प्रयास किया गया है कि यह मनुष्य के दिमाग, हृदय एवं रक्तवाहिनी संबंधी तंत्रिका तंत्र को कैसे प्रभावित करता है और कैसे इनके स्वास्थ्य को बेहतर बना सकता है.
बर्क ने कहा, ‘‘यह पहली बार था, जब हमने मनुष्यों में एक नियमित आकार के चॉकलेट बार के रूप में कोको की अधिक मात्रा के प्रभाव का आकलन लंबे समय तथा कम समय के लिए किया और हम इसके नतीजों से बहुत उत्साहित हुये.’’ बर्क ने दो नये शोध अध्ययनों में प्रमुख जांचकर्ता के रूप में कार्य किया, जिसमें पाया गया कि कोको की अधिकता से स्मरण शक्ति, मनोदशा, प्रतिरक्षा पर अधिक सकारात्मक प्रभाव पड़ा.
कोको में पाए जाने वाले फ्लेवनॉयड्स बेहद शक्तिशाली प्रतिरोधक और सूजन रोधी होते हैं, जो दिमाग, हृदय तथा अन्य अंगों के लिए लाभकारी होते हैं.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
वैज्ञानिकों ने बताया कि सभी यह जानते हैं कि कोको फ्लेवनॉयड का मुख्य स्रोत है लेकिन यह पहली बार है जब यह जनने का प्रयास किया गया है कि यह मनुष्य के दिमाग, हृदय एवं रक्तवाहिनी संबंधी तंत्रिका तंत्र को कैसे प्रभावित करता है और कैसे इनके स्वास्थ्य को बेहतर बना सकता है.
बर्क ने कहा, ‘‘यह पहली बार था, जब हमने मनुष्यों में एक नियमित आकार के चॉकलेट बार के रूप में कोको की अधिक मात्रा के प्रभाव का आकलन लंबे समय तथा कम समय के लिए किया और हम इसके नतीजों से बहुत उत्साहित हुये.’’ बर्क ने दो नये शोध अध्ययनों में प्रमुख जांचकर्ता के रूप में कार्य किया, जिसमें पाया गया कि कोको की अधिकता से स्मरण शक्ति, मनोदशा, प्रतिरक्षा पर अधिक सकारात्मक प्रभाव पड़ा.
कोको में पाए जाने वाले फ्लेवनॉयड्स बेहद शक्तिशाली प्रतिरोधक और सूजन रोधी होते हैं, जो दिमाग, हृदय तथा अन्य अंगों के लिए लाभकारी होते हैं.
(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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